शिक्षा मंत्री ने शिक्षा महानिदेशालय में विभिन्न बोर्ड के अधिकारियों के साथ बैठक की, जहां शिक्षा मंत्री ने कहा,किआगामी शिक्षा सत्र से छात्र-छात्राओं के बस्ते का बोझ कम होगा। इसके लिए सरकार की ओर से जल्द दिशा निर्देश जारी किए जाएंगे।
बस्ते का बोझ होगा कम
बता दे की प्रदेश के विभिन्न विद्यालयों में तैनात संविदा व नियत वेतनमान पर कार्यरत अस्थाई शिक्षिकाओं को भी मातृत्व अवकाश का लाभ दिया जाएगा। मंत्री ने कहा,कि राज्य के सभी विद्यालयों में बच्चों के बस्ते का बोझ कम कर तय मानकों के अनुरूप किया जाएगा। इसके लिए एससीईआरटी उत्तराखंड के अधिकारियों को प्रस्ताव तैयार कर शासन को भेजने के निर्देश दिए गए हैं।
राज्य में चलेगा जनजागरूकता अभियान
वही इसी बीच आगामी सत्र से ही नई व्यवस्था को लागू कर दिया जाएगा। इससे पूर्व 26 जनवरी 2024 तक पूरे प्रदेश में निजी स्कूल संचालकों, प्रबंधकों, प्रधानाचार्यों एवं अभिभावकों के साथ जिला व राज्य स्तर पर बैठकों का आयोजन कर जनजागरूकता अभियान चलाया जाएगा।
नियमावली में होगा संशोधन
।शक्षा मंत्री डॉ.धन सिंह रावत ने कहा कि प्रदेश के कई विद्यालयों में कार्यरत संविदा व अस्थायी शिक्षिकाओं को अन्य कार्मिकों की भांति मातृत्व अवकाश दिया जाएगा। इस संबंध में विभागीय स्तर से सभी जनपदों के मुख्य शिक्षा अधिकारियों को आदेश जारी कर दिए जाएंगे। बैठक में नए निजी विद्यालयों को वित्तीय अनुदान के स्थान पर एकमुश्त धनराशि (टोकन मनी) देने का निर्णय लिया गया। इसके लिए नियमावली में संशोधन किया जाएगा।