-संवेदनशील क्षेत्रों में आवंटित सेटेलाइट फोन सेवा को दुरूस्त करने के निर्देश
देहरादून। राज्य में आपदा की संवेदनशीलता को देखते हुए आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा सभी जनपदों में भूकम्परोधी भवनों का मॉडल तैयार किया जायेगा। ताकि स्थानीय स्तर पर जनपदवासी मॉडल के अनुरूप अपनों भवनों को तैयार कर सकेंगे। इसके साथ ही प्रदेशभर के राज मिस्त्रियों को जनपद स्तर पर विशेषज्ञ संस्थानों के माध्यम से प्रशिक्षण दिया जायेगा।
आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने आज सचिवालय स्थित डीएमएमसी सभागार में विभाग की समीक्षा बैठक ली। जिसमें उन्होंने प्रदेश के सभी जनपदों में मॉडल के रूप में एक-एक भूकम्परोधी भवन बनाये जाने का प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश अधिकारियों को दिये। उन्होंने कहा कि राज मिस्त्रियों को नई तकनीकी के भवन तैयार करने के लिए विशेषज्ञ संस्थानों के माध्यम से जिला स्तर पर प्रशिक्षण भी दिया जायेगा। इसके साथ ही पंचायत जनप्रतिनिधियों, युवक मंगल दल, महिला मंगल दल, ग्राम एवं वन प्रहरियों, टैक्सी चालकों, पोर्टर आदि को आदपा जोखिम न्यूनीकरण, खोज एवं बचाव तथा प्राथमिक चिकित्सा संबंधी प्रशिक्षण दिया जा रहा है। जिसके तहत 25-25 सदस्यों का पांच दिवसीय प्रशिक्षण डॉ. आर.एस. टोलिया उत्तराखंड प्रशासनिक प्रशिक्षण अकादमी नैनीताल में शुरू कर दिया गया है। विभागीय मंत्री ने एसडीआरएफ द्वारा प्रदेश के दूर-दराज एवं संवेदनशील गांवों में आवंटित सेटेलाइट फोन का सही उपयोग न होने पर नाराजगी जताते हुए ग्रामीणों को प्रशिक्षण एवं सम्पूर्ण जानकारी देने के निर्देश दिये। विभागीय मंत्री ने कहा कि महिला एवं युवक मंगल दलों के जनपद स्तर पर जागरूकता सम्मेलन भी आयोजित किये जायेंगे। जिसमें संबंधित जनपद के प्रभारी मंत्री बतौर मुख्य अतिथि मौजूद रहेंगे। उन्होंने विभागीय अधिकारियों को अगले वित्तीय वर्ष हेतु राज्य मोचन निधि का बजट पांच गुना बढ़ाते हुए 200 करोड़ रखने के निर्देश भी दिये, साथ ही राज्य सरकार के पीएलए में गत वित्तीय वर्ष के बजट में शेष 186 करोड़ की धनराशि का अनुपूरक प्रस्ताव मांग आगामी विधानसभा सत्र में रखने के निर्देश दिये।
समीक्षा बैठक में विभाग सचिव एस.ए. मुरूगेशन ने बताया कि राज्य में आपदा प्रबंधन एवं शोध संस्थान गैरसैंण चमोली की स्थापना हेतु प्रस्ताव भारत सरकार को भेजा जा चुका है। जिसके क्रम में गृह मंत्रालय भारत सरकार द्वारा अवगत कराया गया है कि 15वें वित्त आयोग की अनुशंसा के उपरांत मदों एवं मापदंडों का पुनर्निधारण के उपरांत संबंधित प्रस्ताव पर अग्रिम कार्यवाही की जायेगी। बैठक में उन्होंने बताया कि राज्य आपदा मोचन निधि के तहत सभी जनपद मुख्यालयों एवं तहसील मुख्यालयों के लिए 123 महिन्द्रा कैम्पर वाहन खरीदने की स्वीकृति के साथ ही राजस्व परिषद को 9.81 करोड़ की धनराशि भी जारी कर दी गई है। बैठक में सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास एस.ए. मुरूगेशन, वरिष्ठ परामर्शदाता डॉ. गिरीश जोशी, संयुक्त सचिव विक्रम यादव, अनु सचिव आर.के.पाण्डे, प्रभारी अधिशासी निदेशक यूएसडीएमए राहुल जुगरान, प्लानर यूएसडीएमए डॉ पूजा राणा, एस.डी. वेलवाल सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।