बागेश्वर उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी पार्वती दास को 2489 मतों से मिली जीत, मुख्यमंत्री धामी ने दी बधाई।
बागेश्वर उप चुनाव के लिए बीते पांच सितंबर को मतदान हुआ था। जिसमें 55.44 प्रतिशत मतदान हुआ। बागेश्वर उप चुनाव में भाजपा की धमक कायम रही। उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी पार्वती दास में जीत हासिल की। हालांकि शुरुआती रुझान में भाजपा और कांग्रेस दोनों ने कड़ा मुकाबला चल रहा था। आज फैसले की घड़ी आखिरकार आ ही गई और जीत का ताज भाजपा की प्रत्याशी पार्वती दास के सिर पर सज ही गया।
उपचुनाव में इस बार कांग्रेस और भाजपा के बीच सीधी टक्कर थी दोनों पार्टियों के शीर्ष नेताओं ने अपने पूरी ताकत इस चुनाव में झोंक दी थी और लगातार नतीजों पर नजर भी बनाए हुए थे। बागेश्वर उपचुनाव का परिणाम आ चुका है, बागेश्वर विधानसभा सीट से उपचुनाव में भाजपा की प्रत्याशी पार्वती दास ने कांग्रेस के प्रत्याशी वसंत कुमार को 2405 मतों से हराकर उपचुनाव में विजय प्राप्त की।
जीत के बाद उन्होंने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि उनके पति स्वर्गीय चंदन रामदास के द्वारा बागेश्वर क्षेत्र में किए गए विकास कार्यों और राज्य के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा प्रदेश में किया जा रहे चहुंमुखी विकास से जनता प्रभावित है। साथ ही आज उनकी जीत ने प्रमाणित किया है कि बागेश्वर की जनता भाजपा पर पूरी तरह से विश्वास करती है, साथ ही उन्होंने अपनी जीत का श्रेय प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री पुष्कर धामी और भाजपा संगठन की मुखिया महेंद्र भट्ट और अन्य नेताओं को दिया है।
शुक्रवार को सुबह 8 बजे से 14 राउंड के लिए मतगणना शुरू हुई थी। शुरुआती रुझान में कांग्रेस प्रत्याशी बसंत कुमार आगे चल रहे थे। तब तक भाजपा और कांग्रेस दोनों के बीच कड़ा मुकाबला माना जा रहा था, लेकिन जैसे ही एक-एक कर हर चरण की मतगणना पूरी होती रही है, परिणाम बदलते रहे। दो राउंड की मतगणना के बाद भाजपा प्रत्याशी पार्वती दास आगे निकलने लगी।
चौथे राउंड की मतगणना के बाद तेजी से वोट पार्वती दास के पक्ष निकले। और 11वें चरण तक पहुंचे ही भाजपा प्रत्याशियों ने जश्न मनाना शुरू कर दिया। इस चुनाव में भाजपा प्रत्याशी पार्वती दास, कांग्रेस प्रत्याशी बसंत कुमार, यूकेडी के अर्जुन कुमार देव, सपा के भगवती प्रसाद और उपपा के भगवत कोहली की प्रतिष्ठा दांव पर लगी थी।
बता दें. स्व. पूर्व कैबिनेट मंत्री चंदन रामदास के निधन के बाद यह सीट खाली हुई थी। जिसके बाद भाजपा ने चंदन रामदास की पत्नी को ही चुनाव में उतारा। चंदन रामदास की पत्नी के साथ ही उनके बेटे के भी चुनाव लड़ने की चर्चा थी, लेकिन पार्टी ने चंदन रामदास की पत्नी पार्वती दास पर ही दांव खेला।